राज्यव्यापी आशा संघ के आह्वान पर अपनी मांगों के समर्थनमें आशा कार्यकर्ता 5 दिवसीय सांकेतिक हड़ताल पर गई
चकिया । राज्यव्यापी आशा संघ के आह्वान पर अपनी मांगों के समर्थन में आशा कार्यकर्ता पांच दिवसीय सकेतिक हड़ताल पर चली गई । राज्यव्यापी आह्वान पर मंगलवार को स्थानीय आशा संघ की सचिव सुगांधी सिंह के नेतृत्व में आशा कार्यकर्ता अस्पताल के मुख्य प्रवेश द्वार पर पाल पट्टी बीछा धरना पर बैठ गई तथा मुख्य प्रवेश द्वार को बंद कर दिया। इस दौरान अस्पताल पहुंचे उपाध्यक्ष डॉ चंदन को आक्रोश का सामना करना पड़ा जैसे ही डॉक्टर प्रवेश द्वार पर पहुंचे धरना पर बैठी आशा कार्यकर्ता आक्रोशित हो गई तथा सरकार के विरोध में अपने मांगों के समर्थन में पीएम सीएम झूठे हैं ।
आशा कार्यकर्ता के बच्चे भूखे हैं व मैं भारत की नई हूं आग नहीं चिंगारी हूं आदि का गगन भेदी नारा लगाया। साथ ही उपाधीक्षक दुसरे द्वार से अपने कक्ष तक गये। इस मौके पर संघ की सचिव ने बताया कि कड़ी परिश्रम के बाद जो प्रोत्साहन राशि दी जाती है वह भी बीते छह माह से बाकी है साथ ही 2023 हड़ताल उपरांत 25 सौ माहवारी देने का सरकार द्वारा आश्वासन दिया गया था परंतु अभी तक अमल में नहीं लाया गया जिससे आशा कार्यकताओं में सरकार के प्रति घोर निराशा एवं आक्रोश व्याप्त है। आशा कार्यकताओं के हड़ताल के कारण इमरजेंसी छोड़ सभी सेवाएं पुरी तरह से प्रभावित हुई, दुर दराज से टीका समेत अन्य रोग से ग्रस्ति आए रोगियों कोबीना ईलाज कराए ही वापस लौटना पड़ा । कार्यक्रम में सुनीता कुमारी, ममता देवी, उषा देवी, फुल कुमारी देवी, संगीता देवी, मुन्नी देवी, पिंकी देवी, गोल्डी कुमारी, निक्की कुमारी, जमीला खातून, प्रेमशीला देवी, गंगाजल देवी समेत अन्य आशा कार्यकर्ता व फैसिलेटेटर मौजूद थे।
source: दैनिक उजाला
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